गलत चेक देकर सरकार की हुई किरकिरी, तो प्रशासन ने महिला किसान को दिया सही चेक, विपक्ष ने सरकार पर साधा था निशाना
1/15/2022 10:10:45 PM
अशोकनगर: ओला प्रभावित क्षेत्रों के दौरे पर आए मुख्यमंत्री शिवराज सिह के पैरों पर गिरकर रोने वाले किसान को तत्काल राहत राशि देने का मामला गर्मा गया है. प्रशासन की ओर से महिला किसान को 50 हजार रुपये का चैक दिया गया था. जिसके बाद आनन-फानन में प्रशासन ने उस चेक को बदलकर दूसरा चेक किसान महिला को दिया है.
दरअसल शुक्रवार को सीएम शिवराज सिंह चौहान अशोकनगर के मुंगावली तहसील के बजावन ग्राम की ओलावृष्टि से बर्बाद हुई फसलों का निरीक्षण करने आए थे. इस दौरान खेत के निरीक्षण के दौरान राजकुंवर बाई यादव एवं उनके पति मेहरबान सिंह, मुख्यमंत्री के पैरों में गिर गए और फूट-फूटकर रोने लगे. जिसके बाद मुख्यमंत्री ने उन्हें तत्काल राहत देने का आश्वासन दिया था. जिसके बाद प्रशासन ने तत्काल राहत राशि के रूप में स्थानीय पटवारी जितेंद्र शर्मा के निजी खाते का चेक महिला किसान राजकुंअर बाई को तहसीलदार के हाथों दिलवा दिया गया था. साथ ही चेक पर तारीख भी नहीं डाली थी. जब मामला सोशल मीडिया पर वायरल हुआ तो किसान संगठन एवं कांग्रेस द्वारा सवाल खड़े किए जाने लगे और शिवराज सिंह द्वारा मुख्यमंत्री राहत कोष की जगह एक पटवारी के निजी खाते से दिलवाए गए इस चेक का मुद्दा सोशल मीडिया पर तेजी से छाने लगा. जिसके बाद आनन-फानन में कलेक्टर आर उमा महेश्वरी द्वारा महिला को दिए गए चेक को बदलवा दिया गया और रेड क्रॉस सोसाइटी के माध्यम से 50 हजार का चेक महिला किसान को दिया गया.
किसानों के साथ छल करती है बीजेपी: कांग्रेस
अब यह मामला तूल पकड़ने लगा है. जिसको लेकर कांग्रेस भाजपा पर हमलावर होते हुए इसे किसानों के साथ छल बता रही है. जिला युवा कांग्रेस के जिला अध्यक्ष विशाल रघुवंशी ने कहा कि अशोकनगर में भारी ओलावृष्टि से किसानों का नुकसान हुआ है. ऐसे में 1 दिन पहले आए मुख्यमंत्री द्वारा जो राहत राशि का चेक प्रशासन द्वारा जिस किसान महिला को दिया गया था. वह एक निजी पटवारी का है. वही उसमें किसी तरह की कोई डेट भी नहीं है और जिसके बाद मामला तूल पकड़ा तो उस चेक को बदल दिया गया. इससे पता चलता है कि किस तरह किसान को एक फर्जी चेक थमा दिया गया था. ऐसे दुख की घड़ी में भी भाजपा सरकार कांग्रेस के साथ छल कर रही है और उनके साथ खड़े होने का ढोंग रच रही है.
मुद्दा बनते देख प्रशासन ने सुधारी अपनी भूल
सोशल मीडिया पर जैसे ही महिला किसान के चेक का मामला सामने आया, तो प्रशासन हरकत में आया. जिसके बाद तुरंत महिला को पटवारी के निजी खाते का चेक अगले ही दिन प्रशासन द्वारा बदल दिया. देर शाम कर्मचारियों ने पहुंचकर महिला किसान के घर पर पुराने चेक को वापस लेकर फौरन दूसरा चेक रेड क्रॉस सोसाइटी का उन्हें दे दिया.