झीरम घाटी कांड को लेकर NIA पर जमकर बरसे भूपेश, बोले- हमारे पास सबूत तो हैं, लेकिन किसे दें? NIA भरोसे लायक नहीं...

5/23/2023 5:32:46 PM

रायपुर (सत्येंद्र शर्मा): आज से 8 साल पहले 25 मई 2013 की शाम नक्सलियों ने पूरे देश को स्तब्ध कर दिया था। बस्तर की दरभा-झीरम घाटी में नक्सलियों ने कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा पर हमला कर 30 लोगों की हत्या कर दी थी। इस कांड की जांच NIA ने की और अब इसे लेकर सीएम भूपेश बघेल ने एनआईए पर आरोप लगाए हैं। सीएम भूपेश बघेल ने कहा कि- हमारे पास सबूत हैं मगर किसको दें, उस एनआईए को दें जिसने झीरम कांड के जीवित लोगों से पूछताछ तक नहीं की। उस एनआईए से बात करें जिसे जांच वापस राज्य सरकार ने मांगी तो वो हाईकोर्ट चले गए, सुप्रीम कोर्ट चले गए। खुद जांच नहीं कर रहे और हमें जांच करने दे नहीं रहे। आखिर डर क्यों हैं भाजपा को। इसमें सब कुछ दिख रहा है कुछ न कुछ भाजपा छुपाने का प्रयास कर रही है। यदि सही हैं और एनआईए जब जांच पूरी कर चुकी है तो उसे राज्य सरकार को सौंपें। राज्य सरकार ने एसआईटी बनाई तो जांच होने देते कोर्ट क्यों गए। रिपोर्ट राजभवन में जमा क्यों जमा की, आज तक ऐसा नहीं हुआ। इसमें सब कुछ दिख रहा है कुछ न कुछ भाजपा छुपाने का प्रयास कर रही है।

एनआईए जब जांच पूरी कर चुकी है तो उसे राज्य सरकार को सौंपें। हमने एचएम समेत सभी को पत्र लिखा। दो तीन सवाल हैं जिनके जवाब मिलने चाहिए क्यों रोड ओपनिंग पार्टी को हटाया गया। नक्सली पूछ-पूछकर मार रहे थे दिनेश पटेल कौन है, नंदकुमार पटेल कौन है, आज तक ऐसा नहीं किया नक्सलियों ने और सुरक्षा क्यों नहीं दी गई ?

एनआई की कोर्ट ने कहा था कि नक्सली जो सरेंडर कर चुके हैं। तेलंगाना में उनका बयान लिया जाए। एनआईए ने पूछताछ तक नहीं की और जज का ट्रांसफर करा दिया गया। उनके घर में सुतली बम फेंका गया, डराया गया। साफ है भाजपा इस मामले में कुछ दबाना छुपाना चाहती है। इतनी बड़ी घटना पर अब उटपटांग बयान देते हैं। निर्लज हैं ये लोग शर्म भी नहीं आती, इतने नेताओं की सुरक्षाकर्मियों की जान गई इनको राजनीति सूझ रही है। हमारे लिए ये भावनात्मक मामला है।

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