30 साल पुराने डकैती-हत्याकांड मामले में HC ने दिए जांच के निर्देश

7/18/2018 2:23:56 PM

ग्वालियर : हाईकोर्ट की ग्वालियर बेंच ने शहर के बहुचर्चित तीस साल पुराने गोयल दंपति हत्याकांड और डकैती के मामले में मंगलवार को मालखाना प्रभारी रहे एडीजे कोषालय प्रभारी और नाजिरो की भूमिका की जांच करने के आदेश विजिलेंस को दिए हैं। साथ ही पुलिस को भी आदेश दिए गए हैं कि वह माल खाने से कोषालय में जमा कराए गए गहनों के गायब होने के जिम्मेदार लोगों की तलाश करें और उनके खिलाफ विधिसम्मत कार्रवाई करें।

दरअसल 30 साल पहले उपनगर ग्वालियर के सोडा कुआं इलाके में रमेश चंद्र गोयल और उनकी पत्नी बसंती देवी की हत्या कर बदमाशों ने 80 लाख रुपए के सोने चांदी के गहने लूटे थे। बाद में इस मामले में जगदीश सिंह और उदय सिंह आदि को गिरफ्तार किया था। उनसे 80 लाख रुपए का माल कोर्ट के मालखाने में जमा करवाया था।



कोर्ट ने 2 साल पहले दंपत्ति के वारिसों को उक्त संपत्ति वापस करने के निर्देश दिए। लेकिन जब मालखाने में गहनों को तलाशा गया तो वह गायब थे। इस पर हाईकोर्ट ने जिला जज को जांच के निर्देश दिए थे जिला जज ने जांच करने के बाद पिछले साल पडाव थाना मे एफआईआर दर्ज कराई थी। परंतु उसमें कोई कार्यवाही नहीं हुई। हाईकोर्ट ने जिला जज की रिपोर्ट पर तत्कालीन एडीजे रहे आरपी सोनी की गलती मानी है। इसके बाद और पहले रहे विधि अधिकारियों ने भी हर तीन साल में होने वाले सत्यापन की प्रक्रिया का भी पालन नहीं किया।

इसे हाईकोर्ट ने गंभीर चूक मानते हुए आदेश दिए हैं, कि 8 जनवरी 1990 से लेकर 18 मार्च 2016 तक जितने भी नाजिर, नायब नाजिर, ऑफिस इंचार्ज रहे उन सब की भूमिका की जांच की जाए और इनके खिलाफ दोष सिद्ध होने पर कार्यवाही की जाए। कोषालय के प्रभारी और वहां के स्टाफ की भूमिका की भी पुलिस को जांच करने के आदेश दिए हैं।

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