लॉकडाउन में भी बाज नहीं आ रहे माफिया, जबलपुर के नर्मदा घाटों से रेत का खुलेआम उत्खनन

5/7/2021 4:48:04 PM

जबलपुर (विवेक तिवारी): जहां पूरा भारत कोरोना वायरस जैसी महामारी की भीषण आपदा से गुजर रहा है, तो वहीं प्राकृतिक आपदा में जीवनदायिनी मां नर्मदा का जल स्वच्छ होकर कल कल बह रही है। वही नर्मदा नदीं की छाती को छलनी किया जा रहा है। आपदा की विपरीत परिस्थिति में नर्मदा नदी को रेत ठेकेदारों द्वारा बड़ी-बड़ी मशीनों को लगाकर  अवैध घाटों में धड़ल्ले से चल रहा है। पूरे प्रदेश में एक सेवा यात्रा निकाल मां के संरक्षण और संवर्धन की व्यापक स्तर पर महत्वपूर्ण रूपरेखा तैयार की गई थी। इस सेवा यात्रा को लेकर मां नर्मदा के संरक्षण और संवर्धन के लिए व्यापक स्तर पर प्रचार प्रसार किया गया था। गांव-गांव बैठकें और कार्यक्रम तय कर बीजेपी सरकार, संगठन और उससे जुड़े लोग मां नर्मदा के संवर्धन और संरक्षण के लिए लोगों को जागरूक कर रहे थे। शायद उस समय ऐसा लग रहा था कि मां नर्मदा के संरक्षण और संवर्धन के प्रति जो भक्ति भाव और आस्था इन लोगों में हैं, उसके लिये वास्तव में यह सच्चे मार्गदर्शक और दिशा निर्देशक हैं, किंतु यह बातें जो तब सही लग रही थी, वह अब सब हवा-हवाई हो गई हैं।



जबलपुर सीमा क्षेत्र बरगी विधानसभा शहपुरा बेलखेड़ा चरगवा में जिस तरह से कोरोना काल में अवैध खनन की जो तस्वीरें सामने आ रही हैं,  और जिस तरह से खुलेआम मां नर्मदा का सीना पोकलैन मशीनों से छलनी किया जा रहा है, उससे लगता है कि नर्मदा सेवा यात्रा केवल दिखावा ही थी, और करोड़ों रुपए खर्च करके मां नर्मदा के संरक्षण और संवर्धन की जो बात की गई थी वह सब केवल जनता को भ्रमित करने वाली साबित हुई है। आखिर जो लोग मां नर्मदा के प्राकृतिक स्वरूप के साथ जो खिलवाड़ कर रहे हैं, उसका नतीजा हमें आने वाले समय में किस रूप में देखने को मिलेगा, किंतु हमारी जो जिम्मेदार सरकार है और इस सरकार और प्रशासन में बैठे जो लोग हैं और ऐसे रेत चोरी करने वालों को जो खुलेआम संरक्षण दे रहे हैं। उनके सामने अगर इस तरह सब कुछ हो रहा है और वह आंखें मूंदे बैठे हैं, तो कहीं ना कहीं यह लगता है कि मां नर्मदा का सीना छलनी करने वाले कोरोना काल की इस भीषण आपदा में रेत चोरी कर के आपदा में अवसर का लाभ उठा रहे हैं।

 

Vikas Tiwari

This news is Content Writer Vikas Tiwari