मध्य प्रदेश में अतिवृष्टि और बाढ़ से 1171 गाँव प्रभावित, 1600 लोगों को बचाया : चौहान

8/3/2021 11:40:57 PM

भोपाल, तीन अगस्त (भाषा) मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मंगलवार को कहा कि अतिवृष्टि और बाढ़ से ग्वालियर-चंबल संभाग के शिवपुरी, श्योपुर, दतिया, ग्वालियर एवं भिंड जिलों के अलावा रीवा जिले में लगभग 1171 गाँव प्रभावित हुए हैं, जिनमें से कुल 200 गाँव बाढ़ के पानी से अब भी घिरे हुए हैं।
उन्होंने कहा कि राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की टीमों ने बाढ़ में फंसे करीब 1600 लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुँचाया है।
चौहान ने कहा कि सेना बुला ली गई है तथा वायुसेना के पाँच हेलीकॉप्टरों ने ग्वालियर से आज सुबह उड़ान भरी थी, लेकिन खराब मौसम होने के कारण बचाव के लिए उतर नहीं सके। मंत्रालय स्थित सिचुएशन रूम से बाढ़ और अति वृष्टि की स्थिति की समीक्षा करने के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए उन्होंने यह बात कही।

चौहान ने प्रभावित गाँवों के लोगों से सतर्क रहने की अपील करते हुए कहा,‘‘ हम आपकी चिंता कर रहे हैं। राहत शिविर और भोजन की व्यवस्था करने के निर्देश दे दिये गये हैं। अफवाहों पर ध्यान न दें। सभी बांध सुरक्षित हैं, आत्म-विश्वास रखें। सरकार हर संभव प्रयास कर रही है। ’’
उन्होंने कहा कि मौसम में सुधार होते ही हेलीकॉप्टर फिर राहत और बचाव के काम के लिए रवाना होंगे। चौहान ने कहा, ‘‘विशेष रूप से शिवपुरी और श्योपुर में 22 गाँव घिरे हैं। कल 11 लोगों को वायुसेना ने निकाला। एसडीआरएफ की 70 टीमें और एनडीआरएफ की तीन टीमें बचाव अभियान में लगी हैं। केंद्र शासन से और टीमें भेजने का अनुरोध किया गया है।’’ मुख्यमंत्री ने कहा कि अतिवृष्टि और बाढ़ के कारण विकट स्थिति बनी है। शिवपुरी और श्योपुर में दो दिन में 800 मिलीमीटर वर्षा हुई, फलस्वरूप बाढ़ की स्थिति बनी है। उन्होंने कहा,‘‘ शिवपुरी के बीछी गाँव में तीन लोग पेड़ पर अटके थे, जिन्हें सुरक्षित निकाला गया हैं। दूर-दूर तक गाँव खाली हैं। एक पुजारी मंदिर की छत पर घिरे हैं। उनकी चिंता कर रहे हैं। भोजन और राहत के प्रबंध कर रहे हैं। ढाँढस बनाने के प्रयास किये जा रहे हैं। ’’
चौहान ने कहा,‘‘मैं और हमारे मंत्री लगातार स्थिति पर नजर रखे हुए हैं।’’ उन्होंने कहा कि वायुसेना के अधिकारी से चर्चा हुई है। प्रभावित जिलों शिवपुरी, दतिया, ग्वालियर, अशोकनगर के कलेक्टर संपर्क में हैं।
चौहान ने कहा,‘‘मड़ीखेड़ा बांध में पानी अधिक होने के कारण पानी छोड़ा गया था। बांध से पहले 12,500 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा था, लेकिन अब 10,500 क्यूसेक कर दिया गया है। बांध से पानी छोड़ने से प्रभावित होने वाले गाँवों के लोगों को सतर्क कर दिया गया है।’’ उन्होंने कहा कि बारिश का प्रभाव भी कम हुआ है। अब जल्द ही स्थिति सुधरेगी। चौहान ने कहा कि प्रदेश के गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा, जल संसाधन मंत्री तुलसी सिलावट और राजस्व मंत्री गोविंद सिंह राजपूत स्थिति पर नजर रखे हुए हैं तथा मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया तथा शिवपुरी के प्रभारी मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया शिवपुरी कंट्रोल रूम से राहत और बचाव कार्यों का समन्वय कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि बाढ़ प्रभावित शिवपुरी जिले में लगभग 24 घंटे तक पेड़ पर फंसे तीन लोगों के अलावा पांच अन्य लोगों को मंगलवार को भारी बारिश के बीच बचाव दल द्वारा बचाया गया।
रेलवे के एक अधिकारी ने मंगलवार को बताया कि पादरखेड और मोहाना के बीच मरम्मत का काम चल रहा है जिसकी वजह से शिवपुरी-ग्वालियर सेक्शन से गुजरने वाली कई ट्रेनों के मार्ग को बदल दिया गया है या रद्द कर दिया गया है।
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि दतिया शहर के निकट स्थित रतनगढ़ मंदिर के पास सिंध नदी पर बने पुल का एक बड़ा हिस्सा भारी बारिश के कारण बह गया ।
इससे पहले, प्रदेश के गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव राजेश राजौरा ने बताया था कि शिवपुरी, श्योपुर, ग्वालियर और दतिया जिलों में बाढ़ प्रभावित इलाकों में बचाव कार्य के लिए सेना को बुलाया गया है।

मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्रदेश में बनी अतिवृष्टि और बाढ़ की स्थिति से अवगत कराया। उन्होंने फोन पर प्रधानमंत्री को जानकारी दी कि प्रदेश के ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में हो रही निरंतर वर्षा के कारण विकट स्थिति बनी हुई है। चौहान ने मोदी को प्रदेश में चल रहे बचाव अभियान के संबंध में जानकारी दी तथा बाढ़ ग्रस्त क्षेत्र में सेना की मदद के लिए भी चर्चा की।
उनके मुताबिक प्रधानमंत्री ने केन्द्र की ओर से प्रदेश को हर संभव सहयोग करने का आश्वासन दिया है। चौहान ने कहा कि जल्द ही प्रदेश के बाढ़ ग्रस्त इलाकों का हवाई सर्वेक्षण करवाया जाएगा।


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