राष्ट्रीय रामायण महोत्सव के रंग में डूबा रायगढ़, CM भूपेश बघेल की पहल पर महोत्सव में अरण्य कांड पर आधारित रामकथा की प्रस्तुति

5/31/2023 3:05:51 PM

रायपुर (सतेंद्र शर्मा): ऐतिहासिक रामलीला मैदान (Ramleela Maidan) में आयोजित होने वाले राष्ट्रीय रामायण महोत्सव (Rashtriya Ramayan Mahotsav) के रंग में रायगढ़ पूरी तरह रंग गया है। युद्धस्तर पर चलने वाली प्रशासनिक तैयारियों के साथ ही आम जनता में भी महोत्सव को लेकर गजब का उत्साह नजर आ रहा है। आयोजन की सबसे खास बात यह है कि इसका थीम रामायण के अरण्य कांड पर आधारित है। इसके चलते मंच को भी अरण्य कांड की थीम पर ही सजाया जा रहा है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) की पहल पर आयोजित इस महोत्सव में अरण्य कांड पर आधारित रामकथा की प्रस्तुति राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय दलों द्वारा होगी। अरण्य कांड (Araṇya Kaṇḍa) तुलसीदास (Tulsidas) कृत रामचरितमानस (Ramcharitmanas) और वाल्मीकि (Valmiki) रामायण का ऐसा हिस्सा है, जिसमें भगवान श्रीराम (lord rama) के वनवास के दिनों का जिक्र है। जिसमें माता सीता और भाई लक्ष्मण ने भी उनके साथ वनवास किया था। 

पूर्वी एशिया देशों में रामायण के रूपों की झलक

छत्तीसगढ़ में ऐसी 9 पुण्यभूमि हैं, जो राम-वन-गमन परिपथ (ram van gaman paripath) में शामिल हैं, जिस पथ से श्रीराम गुजरे थे। दंडक वन में हुई इन घटनाओं को वाल्मीकि रामायण और इसके बाद अनेक भाषाओं में लिखी गई रामायण में अंकित किया गया है। साथ ही विभिन्न कलारूपों में भी यह शामिल हैं। महोत्सव में इंडोनेशिया और कंबोडिया के रामायण दलों द्वारा मंचन भी होगा। कंबोडिया के अंकोर वाट मंदिर (angkor wat mandir) और इंडोनेशिया के जावा के मंदिरों में रामायण के रूपों का अंकन किया गया है। इसी के साथ इन्हें ललित कलाओं में भी प्रस्तुत किया गया। रामायण महोत्सव (ramayan mahotsav) के दौरान दक्षिण पूर्वी एशिया के इन देशों में रामायण के प्रचलित रूपों की झलक मिलेगी।

अंतरराज्यीय रामायण मंडलियों के मध्य होगी प्रतिस्पर्धा

रामकथा (Ram Katha) की बहुत सुंदर प्रस्तुति भारत के अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग कलारूपों में होती है। सभी कलारूप बहुत आकर्षक है और सुंदर रामलीला प्रस्तुत करते हैं। विभिन्न राज्यों में कुछ रामायण मंडलियों ने अपनी खास प्रस्तुति से अपना अलग ही मुकाम बनाया है। अरण्य कांड पर इनकी भव्य प्रस्तुति आयोजन की सबसे खास विशेषता होगी। पहले दिन अरण्य कांड पर उत्तराखंड, कर्नाटक, छत्तीसगढ़ राज्यों में प्रतियोगिता होगी। दूसरे दिन झारखंड, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, ओडिशा, असम, हिमाचल प्रदेश, गोवा और छत्तीसगढ़ राज्य के बीच प्रतियोगिता होगी। समापन समारोह पर विजेता दलों को पुरस्कृत किया जाएगा।

PunjabKesari

कंबोडिया और इंडोनेशिया के दल देंगे प्रस्तुति 

महोत्सव के दौरान रामकथा का विस्तृत फलक देखने दर्शकों को मिलेगा। सागर पार इंडोनेशिया और कंबोडिया में फैले राम कथा के विविध रूपों की झलक दर्शकों को मिलेगी। रामकथा इन देशों के कलाकारों ने अपने खास कलारूपों में प्रस्तुत करते हुए अपनी धरोहर को अब तक कायम रखा है। रामायण महोत्सव के दौरान इन कलारूपों को देखना दर्शकों के लिए चकित करने वाला अनुभव होगा।

सामूहिक हनुमान चालीसा का होगा पाठ

महोत्सव के दौरान तीनों दिन सामूहिक हनुमान चालीसा (Hanuman Chalisa) का पाठ होगा। समापन समारोह के दिन केलो महाआरती और दीपदान का आयोजन भी होगा। कार्यक्रम के औपचारिक शुरूआत के पश्चात हनुमान चालीसा का सामूहिक पाठ होगा। हनुमान चालीसा का पाठ स्थानीय कलाकारों एवं पुरोहितों के द्वारा किया जाएगा। इस मौके पर विदेशी एवं अंतरराज्यीय कलाकारों द्वारा मार्च पास्ट भी किया जाएगा। 

दिग्गज कलाकार लेंगे हिस्सा 

राष्ट्रीय स्तर के दिग्गज कलाकार कार्यक्रम में हिस्सा लेंगे। समारोह के पहले दिन राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त इंडियन आइडल कलाकार शण्मुख प्रिया (Indian Idol Shanmukh Priya) तथा सारे गामा के कलाकार शरद शर्मा अपनी प्रस्तुति देंगे। कार्यक्रम के दूसरे दिन बाबा हंसराज रघुवंशी (Hansraj Raghuwanshi) तथा लखबीर सिंह लक्खा (Lakhbir Singh Lakha) भजन संध्या की प्रस्तुति करेंगे। समापन समारोह के दिन मैथिली ठाकुर (Maithili Thakur) भजन संध्या की प्रस्तुति करेंगी। अंतिम कार्यक्रम कुमार विश्वास का अपने-अपने राम म्यूजिक नाइट होगा।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

News Editor

Devendra Singh

Recommended News

Related News