होशंगाबाद में रेलवे ने तोड़े 30 परिवारों के आशियाने, सड़क पर आए लोग

12/20/2019 12:40:48 PM

होशंगाबाद (गजेंद्र राजपूत): वोट बैंक की राजनीति के लिए रेलवे की जमीन पर कब्जा करवाने के बाद मकान बनवाने वाले नेताओं के इरादे बुधवार काे जमींदाेज हाे गए। बंगाली काॅलाेनी में रेलवे की जमीन पर 1998 में मकान बनाए गए 30 मकानाें काे ताेड़ा गया। टीम ने पार्षद जीजी बाई आसरे के मकान काे भी नहीं तोड़ा है। साथ ही 2 प्रधानमंत्री आवास भी गिराए गए हैं।

रेलवे ने 19 मार्च 2019 काे 30 परिवाराें काे नाेटिस जारी कर 22 मार्च 2019 तक अतिक्रमण हटाने का समय दिया था। वहीं जहां रहने वाले लोगों ने राजनीतिक लोगों के वादों में आकर अतिक्रमण नहीं हटाया। रेलवे ने कार्रवाई के एक दिन पहले मंगलवार काे अतिक्रमण ताेड़ने की मुनादी कराई थी। इसके बाद भी लाेगाें ने अतिक्रमण नहीं हटाए। अब रेलवे ने सख्ती से अतिक्रमण को तोड़ा है। स्थानीय लाेगाें के मुताबिक 1998 में प्रशासन ने पट्टा दिया अब रेलवे की जमीन बताकर मकान ताेड़े जा रहे हैं।

रेलवे आदमगढ़ बंगाली काॅलाेनी से पुराना बस स्टैंड तक सड़क बना रहा है। रेल लाइन पर अंडरपास का काम चल रहा है। दूसरी तरफ अंडरपास का रास्ता बनाने के लिए बुधवार को रेलवे ने अतिक्रमण हटाया। अतिक्रमण हटाने के लिए रेलवे पहले नोटिस भी दे चुका है। बंगाली कॉलोनी निवासियों का कहना है कि हमे यह पट्टे दिए गए थे और प्रधानमंत्री आवास भी दिया गया है।

वहीं बड़ा सवाल यह कि जब रेलवे की जमीन थी तो इस पर रहने वालों को प्रशासन ने कैसे पट्टे दे दिए। वहीं लोगों को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान बनाने के लिए ढाई लाख रुपये भी मिल गए। रेलवे लाइन के किनारे 2018 में बने अत्राे बाई पति भाेला और कामता प्रसाद पिता जीवन लाल कैथवास का प्रधानमंत्री आवास ताेड़ा गया। वहीं इसके अतिरिक्त कई लोगों का आदमगढ़ में रेलवे की जमीन पर अतिक्रमण हटाया गया है। 

 

Jagdev Singh

This news is Edited By Jagdev Singh