"मामा ने साथ निभाया है मामा जी साथ निभाएंगे" ये लाइन कहीं होने वाले चुनाव में BJP का चेहरा तो नहीं बता रही, जानने के लिए पढ़े ये रिपोर्ट

2/6/2023 5:57:21 PM

भोपाल (विवान तिवारी) : मध्यप्रदेश में जहां एक तरफ चुनावी काउंटडाउन शुरू हो गया है तो वही प्रदेश की राजनीतिक पार्टियां चुनाव की तैयारियों में पूरी ताकत से जुट गई है। कार्यकर्ताओं को एकजुट करने, चुनाव जीतने के लिए हर जरूरी व्यवस्था करना और रणनीति के साथ जीत दर्ज करने के लिए दल और उनके वो सभी कार्यकर्ता जो टिकट मिलने और अपनी सरकार बनने की उम्मीद लिए बैठे है वो मैदान में आ चुके हैं।

इन सब के बीच मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उनके नेतृत्व में अब तक चल रही सरकार के दौरान मध्यप्रदेश में जो बदलाव हुए हैं उसको लेकर के एक विकास यात्रा की शुरुआत की है। 5 फरवरी को उन्होंने अपने हाथों से हरी झंडी दिखाकर के पांच रथों को रवाना किया। इन रथों में प्रदेश भर के लोगों को यह बताया जाएगा कि किस प्रकार से मध्यप्रदेश बदला है। इस यात्रा की एक खास एंथम बनाई गई है ये गान इसलिए भी बहुत अलग माना जा रहा है क्योंकि उसमें एक लाइन है जिस पूरी लाइन ने सियासी पारे को चरम पर ला दिया है और हर रोज सियासी गलियारों में बैठकें लगाने वालों को एक मुद्दा भी दे दिया है। कईयों का तो ये तक कहना है कि इस लाइन से यह साफ हो रहा है कि वर्ष 2023 का जो चुनाव है वह मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के चेहरे पर ही लड़ा जाएगा।

• क्या है वो लाइन?

एंथम में मुख्य रूप से डाली गई लाइन कह लीजिए, एंथम की बोल कह लीजिए या फिर स्लोगन उसमें यह कहा गया है कि "मामा ने साथ निभाया है मामा जी साथ निभाएंगे" इस पूरी लाइन को लेकर के कई जानकारों का यह कहना है कि यह कई सियासी मायने तय कर रही है। जिस प्रकार से विकास यात्रा के इस खास एंथम में सीएम शिवराज के लिए ऐसा बताया गया है यह साफ दर्शाता है कि चुनाव से पहले सीएम शिवराज की कुर्सी को कोई खतरा नहीं है।

• टाइगर अभी जिंदा है जैसे बयानों ने भी बनाया है एंथम को बिल्कुल अलग

विकास यात्रा की एंथम कि इस लाइन ने न सिर्फ उस पूरे यात्रा और इस एंथम को अलग बताया है बल्कि कुछ सीएम शिवराज के ऐसे बयानों को भी इसमें डाला गया है जो चर्चाओं में रहे है। डाले गए इन बयानों के लिए ऐसा बताया जाता है कि जब सीएम ने ये बातें कही थी तब उस दौरान सभा में उपस्थित जो लोग थे। वह अपनी कुर्सी से खड़े होकर दोनों हाथों से ताली बजाते दिखाई पड़े थे।

एक सभा के दौरान उन्होंने यह कहा था कि मध्य प्रदेश उनका मंदिर है प्रदेश की जनता उनकी भगवान और वह मंदिर और भगवान के पुजारी है। वहीं उन्होंने एक और बयान दिया था जो देश भर में जमकर वायरल हुआ था जिसमें उन्होंने यह कहा था कि टाइगर अभी जिंदा है यह बयान उन्होंने इनडायरेक्टली उन माफियाओं के लिए दिया था जो जमीनों पर कब्जा करते हैं और अपराध किया करते है। इस तरीके की बयानों को भी इस एंथम में जोड़े जाने को लेकर के जो जानकार है उसे बहुत अलग तरीके से देख रहे हैं।

• पाव पाव वाले भैया का अनुभव ही उनके उज्वल राजनीतिक भविष्य की सांसे

लंबे समय से मध्यप्रदेश में पत्रकारिता कर रहे सीएम शिवराज की खास कवरेज में करीब से उनकी बयानबाजी और उनके भाषणों को समझने वाले वरिष्ठ पत्रकार अजीत द्विवेदी यह बताते हैं कि जिस प्रकार से सीएम शिवराज राजनीतिक समीकरण, जातीय समीकरण और हर वर्ग को कैसे अपनी और आकर्षित करना है इसकी समझ रखते हैं यही उनके उज्जवल राजनीतिक भविष्य की सांसे है।

इसके साथ में ही उन्होंने यह भी बताया कि जिस प्रकार से बीते कुछ वर्षों में बहुत तेजी से बढ़े सीएम शिवराज समर्थक चाहे सोशल मीडिया की फैन फॉलोइंग हो या जनदर्शन, रैली, सभाओं में उमड़ी भीड़ और जिस प्रकार से मुख्यमंत्री खुद एक ग्रामीण परिवेश से है जिसका सीधा लाभ प्रदेश की जनता को मिलता है ये वो कुछ वजहें है जो सीएम शिवराज को देश के कई दिग्गज नेताओं और मुख्यमंत्रियों से अलग बनाता है।

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This news is Content Writer meena