केवल आम आदमियों के लिए सख्ती, लेकिन अपर कलेक्टर के लिए दुकान खुलवाकर सामान ले गए परिजन
6/4/2021 6:31:47 PM
इंदौर (सचिन बहरानी): कहते हैं, जिनके घर शीशे के होते हैं, वे दूसरों के घर पर पत्थर नहीं फेंकते। प्रदेश में मौजूदा दौर में आम आदमियों के लिए उसकी जरूरत का सामान नहीं मिल रहा, लेकिन अफ़सरों के लिए बन्द दुकानें खोली जा रही है। कलेक्टर मनीष सिंह, जेल रोड़ और सिंधी कॉलोनी के व्यापारियों पर सख्त है, किसी गरीब को यहां न सामान लेने आने की इजाजत है न व्यापारी को दुकान खोलने की। लेकिन जब अपर कलेक्टर की सरकारी गाड़ी अपने परिजनों के लिए दुकान खुलवाकर सामान ले जा रही है, तो इन पर कार्रवाई कौन करेगा। ये किसी को नहीं पता। क्या इनके लिए कोई नियम नहीं हैं। क्या यह सिविल सर्विस रूल का उल्लंघन नहीं है? जब आपके अपने अधीनस्थ ही आपके आदेश को नहीं मानेंगे, तो आम जनता से आप क्या अपेक्षा करेंगे।
दरअसल 3 जून को दोपहर करीब 2 बजे अपर कलेक्टर अभय बेडेकर की सरकारी गाड़ी जेल रोड़ पहुंची, यहां मोबाइल दुकान खुलवाई और सरकारी सुरक्षाकर्मी उनके लिए सामान ले गया। मामले में गौर करने वाली बात ये ही कि आम आदमी के लिए सामान लेने के लिए तरह तरह के रूल्स बनाए गए हैं, तो फिर अपर कलेक्टर के लिए क्यों नहीं?