MP में फैक्ट्रियां बनी मजदूरों का काल,पहले भी हो चुकी हैं दर्दनाक घटनाएं

11/30/2018 1:24:27 PM

भोपाल: कुछ दिन पहले घटित घटना की आग ठंडी नहीं पड़ी थी कि गुरूवार रात एक और बड़ी घटना इस उद्योग के प्रबंध तंत्र की घोर लापरवाही की भेट चढ़ गई। जिसमे दो जिंदगियां काल के गाल में समा गई और लगभग आधा दर्जन लोगो को गंभीर छोटे आई जिनका इलाज जारी है।  इस उद्दोग में बैठे जिम्मेवार अधिकारी उत्पादन की होड़ में इस कदर अंधे हो चुके है कि अब कर्मचारियों की जिंदगियों को दांव पर लगाया जा रहा है। जान जाती है तो जाती रहे,  इन्हें तो किसी भी हाल में प्रोडक्शन चाहिए। तमाम सुरक्षा के मापदंडो को दरकिनार कर कई जिंदगियो से खिलवाड़ करने वाले जिम्मेवार अधिकारियो पर लेबर कोर्ट से लेकर मानवाधिकार की गाज क्यों नहीं गिरती, यह बड़ा सवाल बनते जा रहा है। MP में ऐसे कई हादसे हो चुके हैं, जिनमें बेगुनाह मजदूर मौत की भेट चढ़ चुके हैं-

  • 30 अप्रैल 2018 को मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में एक प्लास्टिक फैक्ट्री में भीषण आग लग गई थी। इस आग में दो मजदूर जिंदा जल गए थे, जबकि चार लोग बुरी तरह से झुलस गए थे।  सौंसर तहसील के सातनुर गांव में रात करीब 3 बजे एक प्लास्टिक फैक्ट्री में भीषण आग लग गई थी। अचनाक लगी इस आग में फैक्ट्री में काम कर रहे मजदूर भी चपेट में आ गए थे।
  • 7 जून 2017 को बालाघाट में खैरी नामक स्थान पर स्थित वारसी की पटाखा फैक्ट्री में तेज धमाका हुआ था। इस विस्फोट में 23 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 10 लोग घायल हो गए थे। पटाखा फैक्ट्री में करीब 40 लोग काम कर रहे थे। धमाका इतना भयानक था कि बाहर खड़ी फायर बिग्रेड भी जल गई। हादसा बुधवार दोपहर करीब 2 बजे हुआ था। 2015 में भी बालाघाट जिले के किनारपुर में एक अवैध  पटाखा फैक्ट्री में धमाका हुआ था। उस हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई थी जबकि करीब एक दर्जन लोग घायल हुए थे।
  • 17 अगस्त 2014 को मध्य प्रदेश के जबलपुर में एक आयुध कारखाने (ऑर्डनेंस फैक्टरी) में बम में बारूद भरने के दौरान दुर्घटनावश हुए विस्फोट में चार कामगार घायल हो गए थे। यह विस्फोट इतना जबरदस्त था कि इमारत की छत, दरवाजे और खिड़कियां बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए थे।
  • 25 मार्च 2017 को जबलपुर में स्थित खमरिया ऑर्डनेंस फैक्ट्री में शाम 6.20 बजे भीषण आग लग गई थी।आग इतनी भीषण थी कि फैक्ट्री में एक के बाद एक लगातार विस्फोट होते रहे। 125 mm सॉफ्ट कोर एंटी टैंक बम की शिफ्टिंग के दौरान यह हादसा हुआ था। इस ऑर्डनेंस फैक्ट्री में सेना के लिए गोला-बारूद बनाए जाते हैं। 
  • 8 नवंबर 2013 को मध्यप्रदेश के कटनी जिला मुख्यालय के माधवनगर क्षेत्र में स्थित ऑर्डनेंस फैक्ट्री में एक श्रमिक की मशीन में पैर फंस जाने से मौत हो गई थी।श्रमिक सुभाष नगर का रहने वाला था और वह रात्रि ड्यूटी में फैक्ट्री गया था। सुबह मशीन में सामग्री डालने के दौरान वह हादसे का शिकार हो गया।

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