ज्योतिरादित्य सिंधिया का कांग्रेस पर तंज, कहा- कांग्रेस क्वारंटीन हो चुकी है ट्विटर तक ही सीमित है

7/5/2021 4:43:22 PM

भोपाल(इजहार खान): पंद्रह साल से सत्ता का वनवास काट रही कांग्रेस की सरकार को बनने के बाद महज़ 15 महीने में गिराने के बाद मध्य प्रदेश की राजनीति का केंद्र बिंदु बनने वाले ज्योतिरादित्य सिंधिया मालवा के दौरे पर हैं। कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आने के बाद यह उनका पहला मालवा दौरा है। लिहाज से इस दौरे को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा हैं। रविवार को सिंधिया राजस्थान के उदयपुर एयरपोर्ट पहुंचे और वहां से सड़क मार्ग से नीमच पहुंचे। जहां पर सिंधिया ने कोरोना काल में मृत हुए बीजेपी कार्यकर्ताओ के परिवार वालों से मुलाक़ात की और मृतकों को श्रद्धांजलि अर्पित की।




इस दौरान सिंधिया के साथ मंदसौर सांसद सुधीर गुप्ता, मंत्री ओमप्रकाश सकलेचा, नीमच विधायक दिलीप सिंह परिहार आदि भी मौजूद रहे। वही सिंधिया ने नीमच में भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश कार्यसमिति सदस्यों, जिला पदाधिकारियों, मंडल अध्यक्षों के साथ परिचयात्मक बैठक भी ली।



मीडिया से बात करते हुए सिंधिया ने अपनी पूर्व पार्टी के बारे में कहा कि कांग्रेस तो क्वारन्टीन हो चुकी है और ट्विटर तक ही सीमित है और अब जनता भी कांग्रेस को वैसे ही सीमित रखने वाली है आने वाले 100 सालों तक। दरअसल सिंधिया से मीडिया ने सवाल किया था कि कांग्रेस कोरोना काल के बाद आपके दौरे को राजनीती करने का बोलकर निशाना साध रही है। इस पर सिंधिया कांग्रेस पर बरस पड़े सिंधिया ने कहा कि कठिनाई यह है कि कांग्रेस जनता के बारे में चिंता नहीं करती।



अगर जनता के बारे में चिंता करती तो कांग्रेस का नेता दिखता कांग्रेस का कार्यकर्ता दिखता कांग्रेस का काम दिखता। जो भारतीय जनता पार्टी ने काम करके दिखाया है इस कोरोना काल में चाहे दवाइयों का वितरण हो चाहे भोजन वितरण हो चाहे प्रवासी मजदूरों को हमारे अध्यक्ष ने चप्पल तक पहनाई । यह किसी भी राजनीतिक दल ने पूरे विश्व में नहीं किया होगा जो भारतीय जनता पार्टी ने कर दिखाया है। अपने आप तो कांग्रेसी कुछ काम नहीं कर पाती हो दूसरों के काम देखकर ईर्ष्या की सोच और विचारधारा के साथ टीका टिप्पणी पर ही सीमित हो चुकी है। सिंधिया यहीं नहीं रुके सिंधिया ने आगे कहा कि कांग्रेस तो क्वारन्टीन हो चुकी है और ट्विटर तक ही सीमित है और अब जनता भी कांग्रेस को वैसे ही सीमित रखने वाली है आने वाले 100 सालों तक।



आपको बता दे कि मालवा को सिंधिया का दूसरा गढ़ माना जाता है और यह माना जा रहा हैं कि पार्टी बदलने के बाद सिंधिया दौरे के ज़रिए भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं से नए सियासी रिश्तों की शुरुआत करने जा रहे हैं। हालांकि नए भाजपा नेता पुराने भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं से किस तरह और किस हद तक तालमेल बिठा पाते हैं और किस तरह के रिश्ते बन पाते हैं इसका सबको इंतज़ार रहेगा।

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