जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए मध्यप्रदेश में शुरू हुआ पायलट प्रोजेक्ट

6/12/2018 7:06:39 PM

भोपाल : वर्ल्ड रिसोर्सेज इंस्टीट्यूट और भारत सरकार के समन्वय से राज्य में जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए मंगलवार को मध्यप्रदेश से पायलट प्रोजेक्ट की शुरूआत की गई। डब्ल्यू.आर.आई. द्वारा भारत में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में मध्यप्रदेश और उत्तराखण्ड का चयन किया गया है।
PunjabKesari
प्रमुख सचिव पर्यावरण अनुपम राजन ने इस अवसर पर एप्को द्वारा प्रदेश की जलवायु संबंधित जानकारियाँ प्राप्त करने के लिये तैयार किये गये क्लाइमेट इंफॉरर्मेशन डैशबोर्ड का शुभारंभ किया। इस मौके पर वर्ल्ड रिसोर्सेज इंस्टीट्यूट भारत के निदेशक डॉ. नम्बी अप्पादुरई और सुश्री लॉरेटा बुरके भी उपस्थित थे।

राजन ने कहा कि जलवायु परिवर्तन से पूरे विश्व में रोजमर्रा का जीवन प्रभावित होने लगा है। अगर हमारे पास संबंधित डाटा उपलब्ध रहेंगे, तो नीति निर्धारकों को जलवायु के दुष्प्रभावों को रोकने और चुनौतियों से निपटने के लिए कार्य-योजना तथा रणनीति बनाने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश शासन बेहतर पर्यावरण देने के लिये कृत संकल्पित है। राज्य में पॉलीथीन पर प्रतिबंध लगाया गया है। पिछले दो सालों में 50 हजार मीट्रिक टन से अधिक प्लास्टिक वेस्ट सीमेंट उद्योगों में जलाया गया है।

पर्यावरण जागरूकता प्रसार के लिये मास्टर ट्रेनर्स और 12 हजार स्कूली बच्चों को तैयार किया गया है। डब्ल्यू. आर. आई. इण्डिया की सुश्री लॉरेटा बुरके ने पॉवर प्रजन्टेशन से प्रेप डाटा और प्रेप इण्डिया की जानकारी दी। एप्को के समन्वयक लोकेन्द्र ठक्कर ने एप्को/एसकेएमसीसी और डब्ल्यू. आर. आई. इण्डिया पार्टनरशिप की जानकारी दी। इंस्टीट्यूट की सुश्री पूजा पाण्डेय ने ‘मध्यप्रदेश का डाटाबेस‘, सुश्री नम्रता गिनोया ने ‘मध्यप्रदेश में गेहूँ’ सुश्री लॉरा सत्कोवस्की ने ‘भविष्य में पृथ्वी’के तहत‘मध्यप्रदेश के वन’पर प्रस्तुतीकरण दिया। कार्यशाला में यूएनडीपी, हैदराबाद, दिल्ली के वैज्ञानिक और प्रदेश के विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

kamal

Recommended News

Related News