किसान की आत्महत्या के बाद दो दिन भूखा प्यासा बैठा था परिवार, SDM ने अपने हाथों से चाय बनाकर पिलाई

1/2/2021 6:51:03 PM

छतरपुर(राजेश चौरसिया): गुरुवार को कर्जे से दबे किसान ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम सुसाइड नोट लिखकर खेत में फंदा लगा लिया। किसान ने सुसाइड नोट में लिखा कि मेरे अंग बेचकर कर्जा उतार देना। इसके बाद जब उसके घर की स्थिति पर एक नजर डाली तो हर किसी का दिल पसीज गया। किसान के घर की आर्थिक स्थिति बेहद खराब थी। किसान की मौत के बाद उसका परिवार दो दिन तक भूखा प्यासा बैठा रहा। जब इस बात की जानकारी छतरपुर जिला प्रशासन को लगी तो कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह के निर्देशन में एसडीएम प्रियांशी भंवर मृतक के परिवार जनों से मिलने ग्राम मातगुआं पहुंची। जहां उन्होंने मृतक की पत्नी को सहायता राशि स्वरूप 25 हजार रुपए का चेक प्रदान किया और अपने हाथों से चाय बनाकर पिलाई।



मांतगुआं निवासी मुनेंद्र राजपूत के सुसाइड नोट से उसकी आर्थिक हालत का अंदाजा तो हो ही गया कि कुछ कोरोना वायरस ने तो कुछ फसल खराब होने के कारण उसकी आर्थिक हालात बेहद नाजुक थे। उपर से बिजली का बिल और अन्य कर्जे ने उसकी जिंदगी बदहाल कर दी।



जब बिजली विभाग उस पर कर्जा वापस करने का दबाव बनाने लगा तो किसान परेशान हो उठा। तनाव ऐसा कि उसे फंदे से झूलने पर मजबूर कर दिया। लेकिन किसान की मौत के बाद उसके परिवार की क्या हालत थी ये तो उनसे मिलकर ही पता चला। मुनेंद्र राजपूत की मौत से कुछ नहीं बदला दो दिन उसका परिवार भूखा प्यासा बैठा रहा।



ऐसे में छतरपुर एसडीएम को मामले की जानकारी लगी तो वे मृतक की पत्नी विनोबा को ढांढस बंधाने घर पहुंच गई। जहां उन्होंने पत्नी को खाने पीने के लिए मनाया एवं परिजनों से चाय बनवाकर अपने हाथों से पिलाई। उन्होंने शोक में डूबे परिवार के प्रति संवेदनायें व्यक्त करते हुए जमीन पर उनके साथ बैठकर उनके दुःख को बांटा एवं उनका मनोबल बढ़ाया और उनको विश्वास दिलाया कि इस दुःख की घड़ी में प्रशासन उनकी हर संभव मदद के लिए तैयार है। साथ ही परिवार को आश्वासन दिया कि वो अपने बच्चों के भविष्य की चिंता न करें प्रशासन की तरफ से पूरा सहयोग किया जाएगा। इस मौके पर मातगुआं थाना प्रभारी और राजस्व इंस्पेक्टर उपस्थित रहे।

meena

This news is meena