एशिया की सबसे बड़ी कुबेर भगवान की प्रतिमा यहां मौजूद, धनतेरस पर होती है ख़ास पूजा

11/12/2020 5:06:49 PM

विदिशा(अभिनव चतुर्वेदी): आज धनतेरस त्यौहार का दिन है जिसे देशभर में काफी धूमधाम से मनाया जा रहा है। दीपावली के 2 दिन पहले पढ़ने वाले इस त्यौहार को धन के देवता कुबेर की पूजा-अर्चना के रूप में मान्यता दी गई है। मध्यप्रदेश के विदिशा के जिला संग्रहालय में एक दसवीं शताब्दी की पाषाण निर्मित भगवान कुबेर की प्राचीन प्रतिमा स्थापित है, जहां शहर के कुछ युवक पिछले डेढ़ दशक से पूजा-अर्चना करते चले आ रहे हैं, सुशील शर्मा, पंकज जैन, अमित श्रीवास्तव, अर्पित उपाध्याय, मनजीत सिंह सहित अन्य युवाओं ने उसी परंपरा को निभाते हुए जिला संग्रहालय पहुंचकर विधि-विधान से भगवान कुबेर की पूजा-अर्चना की।

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आपको बता दें कि यह प्रतिमा बैस नदी में पड़ी हुई मिली थी। लोग इस प्रतिमा पर कपड़ा धोने का काम करते थे। करीब तीन दशक पहले इस प्रतिमा को जिला संग्रहालय में स्थापित किया गया।

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इसके साथ यह भी बताया जाता है कि देश में सिर्फ 4 जगहों पर भगवान कुबेर की प्रतिमा मौजूद है जिनमें राजस्थान के भरतपुर, उत्तरप्रदेश के मथुरा, मध्यप्रदेश के विदिशा और दक्षिण भारत में एक जगह पर भगवान कुबेर की बड़े आकार के प्रतिमा के रूप में मौजूद है। विदिशा में मौजूद भगवान कुबेर की यह प्रतिमा एशिया की सबसे बड़ी प्रतिमा मानी गई है।
 


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