OBC Reservation update: mp सरकार पारित आदेश में संशोधन का आवेदन दायर करके पुनः अदालत से करेगी आग्रह: बृजेंद्र सिंह यादव
5/13/2022 5:46:13 PM
अशोकनगर (गजेंद्र लोधी): नगरीय निकाय एवं पंचायत चुनाव बिना ओबीसी आरक्षण कराने के संबंध में आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर अब राजनीति बयानबाजी भी शुरू हो गई है। लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी राज्य मंत्री बृजेंद्र सिंह यादव ने शुक्रवार को कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित मीडिया से चर्चा में बताया कि मध्य प्रदेश सरकार पारित आदेश में संशोधन का आवेदन दायर करके पुनः अदालत से आग्रह करेगी कि एमपी में ओबीसी आरक्षण के साथ ही पंचायत एवं स्थानीय निकाय चुनाव संपन्न कराए जाए।
OBC आरक्षण के खिलाफ कोर्ट गई कांग्रेस: बीजेपी
उन्होंने कहा कि बिना ओबीसी आरक्षण के नगरीय निकाय एवं पंचायत चुनाव कराए जाने की जो वर्तमान परिस्थिति बनी है। इसके लिए कांग्रेस जिम्मेदार है। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में तो 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण के साथ पंचायत चुनाव प्रक्रिया चल ही रही थी सरकार द्वारा इसके अंतर्गत वार्ड परिसीमन वार्डों का आरक्षण महापौर तथा अध्यक्ष का आरक्षण मतदाता सूची तैयार करना आदि समस्त तैयारी कर ली गई थी। यहां तक कि ओबीसी एवं अन्य उम्मीदवारों द्वारा नामांकन भी दाखिल कर दिया गया था लेकिन कांग्रेस इसके खिलाफ हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट गई। जिससे होने वाले चुनाव प्रभावित हुए एवं व्यवधान उत्पन्न हुआ।
सुप्रीम कोर्ट में पेश की गई थी आयोग की रिपोर्ट: बृजेंद्र सिंह यादव
बृजेंद्र सिंह यादव ने बताया कि प्रदेश सरकार ने आयोग बनाकर 600 पेज की रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट में प्रस्तुत की थी। उसमें ओबीसी वर्ग की आर्थिक सामाजिक राजनीतिक परिस्थितियों के साथ एरिया वाइज संख्या के आंकड़े विस्तृत रूप से प्रस्तुत किए थे। जिसमें बताया गया था कि 48% से ज्यादा ओबीसी मतदाताओं की औसत संख्या मध्यप्रदेश में हैं। कुल मतदाताओं में से अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति के मतदाताओं के अतिरिक्त शेष मतदाताओं में अन्य पिछड़ा वर्ग के मतदाताओं की संख्या 79% है। यह भी आयोग की रिपोर्ट में पेश किया गया था।
OBC आरक्षण विरोधी है कांग्रेस: लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी राज्य मंत्री
आयोग ने स्पष्ट अभिमत दिया था कि त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों तथा समस्त नगरीय निकाय चुनावों के सभी स्तरों में अन्य पिछड़ा वर्ग के मतदाताओं को कम से कम 35% स्थान आरक्षित होना चाहिए। पिछली कांग्रेस की कमलनाथ सरकार ने 8 जुलाई 2019 को विधानसभा में लोकसेवा आरक्षण संशोधन विधेयक में यह भ्रामक और असत्य आंकड़ा प्रस्तुत किया कि अन्य पिछड़ा वर्ग की मध्य प्रदेश में कुल आबादी सिर्फ 27% है। यह कांग्रेस का वह असली ओबीसी विरोधी चेहरा है, जो मध्य प्रदेश की विधानसभा के दस्तावेज में हमेशा के लिए साक्ष्य बन गया।
सीएम शिवराज ने सॉलिसिटर जनरल से की चर्चा
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जोकि खुद भी पिछड़े वर्ग से आते हैं। उन्होंने तत्काल दिल्ली जाकर उच्चतम न्यायालय के उक्त निर्णय में संशोधन किए जाने का आवेदन लगाए जाने के लिए सॉलिसिटर जनरल से चर्चा की। निर्णय को संशोधन कराए जाने का प्रयास किया जा रहा है। इस दौरान क्षेत्रीय विधायक जजपाल सिंह जज्जी भाजपा जिला मीडिया प्रभारी हरबीर सिंह उपस्थित रहे।