जबलपुर में AAP का मुस्लिम कार्ड, कभी वोटों से कांग्रेस को करते थे ''रईस ''अब कांग्रेस के लिए ही बने सबसे बड़ी मुसीबत

Thursday, Jun 16, 2022-02:45 PM (IST)

जबलपुर(विवेक तिवारी): कांग्रेस के कद्दावर मुस्लिम नेता रईस वली कभी कांग्रेस के लिए सबसे बड़ा शस्त्र होते थे। लेकिन राजनीति में तस्वीर कब बदल जाए इसका कोई अंदाजा नहीं लगा पाता। अब जबलपुर के नगरीय निकाय चुनाव में रईस वली आम आदमी पार्टी का दामन थाम कांग्रेस के लिए सबसे बड़ी मुसीबत बनकर उभरे हैं। आम आदमी पार्टी ने उनको नगरीय निकाय चुनाव में महापौर का उम्मीदवार घोषित कर दिया है। अब रईस वली कांग्रेस के वोट बैंक पर सीधी सेंध लगाते नजर आएंगे। रईस वली की पहचान तो मुस्लिम नेता के तौर पर है लेकिन उनकी पकड़ हिंदू वोट बैंक में भी काफी है। लिहाजा आम आदमी पार्टी ने उनको उम्मीदवार बनाकर चुनावी मैदान पर उतार दिया है।
जबलपुर में पूर्व विधानसभा के साथ-साथ उत्तर मध्य विधानसभा में भी मुस्लिम वोटरों की काफी तादाद है। अब जब महापौर उम्मीदवार के रूप में मुस्लिम फेस आम आदमी पार्टी के साथ जुड़कर चुनावी मैदान पर है, तो जो अभी परंपरागत मुस्लिम वोट कांग्रेस के हुआ करता थे, उसका सीधा सीधा ध्रुवीकरण होगा और जितने वोट आप के उम्मीदवार रईस वली को मिलेंगे उतनी ही मुसीबत कांग्रेस की होगी। लेकिन बीजेपी इस फैक्टर के जरिए काफी प्रॉफिट में होगी। रईस वाली ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि मैं सिर्फ मुस्लिम फेस के जरिए चुनावी मैदान पर नहीं हूं मैं सभी के लिए काम करना चाहता हूं। जबलपुर नगर निगम भ्रष्टाचार मुक्त हो। एक सुंदर शहर बने, यही मेरी कल्पना है।

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इस तरह से होगा वोटों का ध्रुवीकरण
रईस वली मुस्लिम फेस के रुप में जबलपुर में काफी चर्चित है। पूर्व विधानसभा समेत उत्तर मध्य विधानसभा में उनका काफी वोट बैंक है। व्यक्तिगत रूप से भी उनको लोग काफी पसंद करते हैं। और जब आम आदमी पार्टी की तरफ से वे प्रत्याशी के तौर पर चुनाव मैदान पर उतर चुके हैं। ऐसे में कांग्रेस की चिंता बढ़ गई है। कांग्रेस ने यहां पर जिले के अध्यक्ष जगत बहादुर सिंह अन्नू को चुनावी मैदान पर उतारा है। पूर्व विधानसभा और उत्तर मध्य विधानसभा में कांग्रेस के ही विधायक है लिहाजा अब इन दोनों विधायकों का दायित्व होगा कि कांग्रेस का वोट बैंक आम आदमी पार्टी में ना जाए। लेकिन जब भी पूर्व विधानसभा और उत्तर मध्य विधानसभा से मुस्लिम उम्मीदवार कांग्रेस को छोड़ किसी अन्य पार्टी या फिर निर्दलीय के रूप में चुनावी मैदान पर उतरा है। उसने काफी वोट बटोरे हैं। लिहाजा अब जब तस्वीर फिर एक बार बदली है तो कांग्रेस के लिए चिंता बढ़ गई है कि किस तरह से अपने परंपरागत वोट बैंक को आम आदमी पार्टी में जाने से रोके। वही पूर्व विधानसभा से ही एआईएमआईएम भी अपने उम्मीदवारों को उतारने की तैयारी कर चुकी है। ऐसे में यहां पर मुकाबला बेहद दिलचस्प नजर आएगा और हार जीत के फैक्टर में कांग्रेस को इन दोनों विधानसभाओं में काफी फोकस करना होगा नहीं तो इसका सीधा सीधा फायदा बीजेपी को मिलेगा।

कांग्रेस बीजेपी और आप के बीच मुकाबला
जबलपुर नगरीय निकाय चुनाव में महापौर उम्मीदवार के रूप में बीजेपी की ओर से संघ की पृष्ठभूमि से डॉक्टर जितेंद्र जामदार को मैदान पर उतारा गया है। वहीं कांग्रेस की ओर से जिला अध्यक्ष जगत बहादुर सिंह अन्नू को टिकट दी गई है। वहीं अब आम आदमी पार्टी की तरफ से रईस वली चुनावी मैदान पर हैं लिहाजा इस दृष्टिकोण से मुकाबला त्रिकोणीय हो गया है। आम आदमी पार्टी ने काफी मेहनत जबलपुर में की है। और आम आदमी पार्टी ही अब कांग्रेस और बीजेपी के लिए सबसे बड़ी चुनौती है, हालांकि दोनों ही दल आम आदमी पार्टी को हल्के में ही ले रहे हैं।


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meena

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