हाईकोर्ट का फैसला, MP के कर्मचारियों,अधिकारियों के लिए बड़ी खबर, मृत सरकारी कर्मचारी का विवाहित बेटा फैमिली पेंशन का हकदार

Wednesday, Nov 26, 2025-05:51 PM (IST)

(ग्वालियर): प्रदेश के कर्मचारियों और अधिकारियों के लिए एक बड़ी खबर है। ग्वालियर हाईकोर्ट ने फैमिली पेंशन पर अहम फैसला सुनाया है।  मध्य प्रदेश हाइकोर्ट की ग्वालियर खंडपीठ ने अहम फैसला देते हुए कहा है कि मृत सरकारी कर्मचारी का विवाहित बेटा पारिवारिक पेंशन का हकदार है, विवाह पेंशन रोकने का आधार नहीं हो सकता है।

शादीशुदा होने पर भी बेटे की फैमिली पेंशन नहीं रोकी जा सकती-कोर्ट

फैसले के मुताबिक कोर्ट ने कहा है कि मृत सरकारी कर्मचारी, अधिकारी के विवाहित पुत्र का पेंशन पाने का अधिकार खत्म नहीं किया जा सकता है।  ऊर्जा विभाग के एक कर्मचारी की मृत्यु के बाद परिवार पेंशन के एक केस में हाईकोर्ट ने यह महत्वपूर्ण आदेश दिया है।

शादीशुदा होने पर भी बेटे की फैमिली पेंशन नहीं रोकी जा सकती। नियमों के अनुसार कर्मचारी, अधिकारी पुत्र को 25 वर्ष की उम्र तक फैमिली पेंशन मिलेगी, चाहे उसकी शादी हुई हो या नहीं।

क्या था मामला?

जानकारी के मुताबिक नीरज केवट के पिता गंगाराम केवट ऊर्जा विभाग में लाइन हेल्पर थे। उनकी मृत्यु के बाद नीरज ने परिवार पेंशन के लिए आवेदन किया, लेकिन विभाग ने अपने आदेश में ये शर्त जोड़ी कि शादी करने पर पेंशन बंद कर दी जाएगी। इसके खिलाफ नीरज ने ग्वालियर हाईकोर्ट का रुख किया।

फैमिली पेंशन को लेकर ग्वालियर हाईकोर्ट की एकल पीठ ने यह अहम फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा कि शादीशुदा होने पर पेंशन नहीं रोकी जा सकती।


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Desh sharma

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