ये किसान आज भी पुरानी पद्धति से करते हैं खेती, बिना बिजली, मोटर से करते हैं खेत की सिंचाई

1/20/2021 3:07:52 PM

बड़वानी (संदीप कुशवाहा): कहा जाता है कि अन्नदाता देश का भविष्य निर्माता है और उसे ऐसा यूं ही नहीं कहा जाता। धरती की शुरुआत से अन्नदाता ने आपको और पूरी दुनिया को पेट भरने का साधन उपलब्ध कराया है। चाहे वह आज का आधुनिक युग हो या फिर पुराना समय, जब न बिजली थी, ना पानी खींचने की मोटर थी ना ही कोई साधन थे। तभी से वह खेती और सिंचाई करते आ रहा है। उसी पुराने युग की खेती का नजारा आज भी जिले में कई स्थानों को में देखने को मिलता है। जिससे अंदाजा लगता है कि, पुराने समय में अन्नदाता किस तरह अपने दिमाग और मेहनत का इस्तेमाल कर सिंचाई करता था।

PunjabKesari, Madhya Pradesh, Barwani, farming, farmers, farming using the old method

दरअसल बड़वानी जिले के पाटी क्षेत्रके ग्राम अंजराड़ा के 4-5 किसान यहां से गुजरने वाले नाले से पाट पद्धति के माध्यम से नाले से लगभग 1 से डेढ़ किलोमीटर तक अपने खेतों में बिना मोटर और बिजली के पानी लेकर आ रहे हैं।

PunjabKesari, Madhya Pradesh, Barwani, farming, farmers, farming using the old method

किसान कहते हैं कि पाट पद्धति में नाले से खुदाई शुरू की जाती है। वह और भी अपने दिमाग की तकनीक से यह अंदाजा लगाया जाता है कि पानी किस तरह बहाव में बह गए ऊंचाई निचाई कब है। ध्यान रखा जाता है। यहां तक कि पाठ पद्धति से पहाड़ों पर भी किसान पानी चढ़ा देते हैं। किसान इस पद्धति से की बिना खर्चे की सिंचाई करते है इसमें ना बिजली बिल आता है। ना बार-बार कुओ की खुदाई ना ही पानी की मोटर खराब होकर सुधारना पड़ता है। ना ही बार-बार पाइप  का खर्च होता है। वर्षों से चली आ रही है। यह पद्धति आज भी कारागार है, और कई किसान इसका लाभ उठा रहे हैं।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Vikas Tiwari

Recommended News

Related News