आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने पेश की मानवता की मिसाल, साथी की मौत पर खुद दिया अर्थी को कंधा

8/23/2019 6:15:34 PM

कटनी(संजीव वर्मा): सचमुच महिला शक्ति के लिए कोई भी कार्य कठिन नहीं है, फिर वह पारिवारिक दायित्वों का निर्वहन हो या फिर रूढ़िवादिता से हट कर सामाजिक दायित्वों का निर्वाह। ऐसा ही एक उदाहरण गुरुवार को जिले की विजयराघवगढ़ तहसील में देखने को मिला जब महिलाओं ने अपनी साथी की असमय मृत्यु पर वो कर दिखाया जिसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती, दरअसल इस आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के अंतिम यात्रा में सभी महिला कार्यक्रतयाओं ने दिवंगत की अर्थी को कंधा देकर अपने साथी के प्रति अविस्मरणीय अंतिम फर्ज को निभाया। इतना ही नहीं अंतिम संस्कार का समूचा खर्च भी वहन किया।

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जानकारी के अनुसार, विजयराघवगढ़ विकास खंड के ग्राम पंचायत अमेहटा की आंगनबाड़ी तीन की सहायिका प्रेमा कोल की अचानक कल रात हृदय गति रुक जाने से मृत्यु हो गई । घर की आर्थिक स्थिति भी बेहद कमजोर है पति बाबू लाल कोल कई साल से बीमार है एक बेटा दस वर्ष व बेटी पंद्रह वर्ष की है पति की दवाई का खर्च घर की जिम्मेदारी प्रेमा बाई के कंधों पर ही थी। जब अपनी सहायिका के गुजर जाने की जानकारी सहयोगी कार्यकर्ताओं को मिली तो सभी ने मिलकर अंतिम संस्कार की क्रिया में होने वाले खर्च को पूरा किया व अपने सहयोगी को कंधा देकर नम आंखों से श्रद्धाजंलि दी। इनमें आंगनबाड़ी कार्यकर्ता शुशीला शर्मा, श्यामली डे, छवि माया थापा, कल्पना तिवारी, सहायिका नीता पाठक, अनिता सिंह, गीता बर्मन मुख्य तौर से शामिल रही।


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meena

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